30 जून 2025 फैक्टर रिकॉर्डर
National Desk: चार धाम यात्रा से 24 घंटे का प्रतिबंध हटा, फिर शुरू हुई तीर्थयात्रा; प्रशासन ने मौसम के आधार पर सावधानी के निर्देश दिए उत्तराखंड में भारी बारिश और भूस्खलन के चलते 24 घंटे के लिए रोकी गई चार धाम यात्रा को फिर से शुरू कर दिया गया है। गढ़वाल मंडल आयुक्त विनय शंकर पांडे ने जानकारी दी कि अब तीर्थयात्रियों को आगे बढ़ने की अनुमति दी जा रही है। हालांकि, चार धाम मार्गों पर स्थिति अभी भी संवेदनशील बनी हुई है। इसलिए प्रत्येक जिले के जिलाधिकारियों को मौसम की स्थिति के आधार पर वाहनों को रोकने और आवश्यक सुरक्षा इंतजाम सुनिश्चित करने के निर्देश दिए गए हैं।
क्यों रोकी गई थी यात्रा?
भारी बारिश और लैंडस्लाइड के कारण राज्य सरकार ने तीर्थयात्रियों की सुरक्षा को देखते हुए चार धाम यात्रा को अस्थायी रूप से रोक दिया था। खासकर बड़कोट-यमुनोत्री रूट पर लैंडस्लाइड ने तबाही मचाई, जिसके बाद मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने आपदा प्रबंधन विभाग के साथ बैठक कर स्थिति की समीक्षा की थी। इस हादसे में अब तक दो लोगों के शव बरामद किए जा चुके हैं जबकि 7 लोग लापता हैं। यमुनोत्री हाईवे पर सिलाई बैंड के पास सड़क का बड़ा हिस्सा बह गया है।
तीर्थयात्रियों के लिए विशेष अपील
प्रशासन और सरकार ने तीर्थयात्रियों से अपील की है कि वे यात्रा पर निकलने से पहले मौसम की जानकारी जरूर लें और किसी भी आपात स्थिति में सुरक्षित स्थान पर रुक जाएं। उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा, “सभी की सुरक्षा हमारे लिए सर्वोच्च प्राथमिकता है। हमारा प्रयास है कि किसी प्रकार की जनहानि न हो।”
राज्य में अब भी गंभीर हालात
उत्तराखंड के कई हिस्सों में भारी बारिश और लैंडस्लाइड ने जनजीवन अस्त-व्यस्त कर रखा है। पहाड़ टूट रहे हैं, सड़कें बंद हो रही हैं और नदियों का जलस्तर खतरे के निशान से ऊपर जा रहा है। विशेष रूप से रुद्रप्रयाग में अलकनंदा नदी का रौद्र रूप लोगों को डरा रहा है। अब तक कई लोगों की जान जा चुकी है और भारी नुकसान हुआ है।