15 अक्टूबर 2025 फैक्ट रिकॉर्डर
National Desk: मुख्यमंत्री योगी आज देंगे उज्ज्वला लाभार्थियों को मुफ्त एलपीजी रिफिल का तोहफा, दीपावली से पहले शिक्षामित्रों के खातों में पहुंचेगा मानदेय
लखनऊ: मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ बुधवार को लोकभवन सभागार में प्रधानमंत्री उज्ज्वला योजना के तहत प्रदेश की पात्र 1.86 करोड़ माताओं और बहनों को दो मुफ्त एलपीजी रिफिल सिलेंडर का उपहार देने जा रहे हैं। यह कदम महिलाओं को रसोई के धुएं से मुक्ति दिलाने और उनके स्वास्थ्य की सुरक्षा सुनिश्चित करने की दिशा में एक बड़ा कदम माना जा रहा है।
उज्ज्वला योजना से सशक्त हुईं करोड़ों महिलाएं प्रधानमंत्री उज्ज्वला योजना की शुरुआत मई 2016 में हुई थी। इस योजना ने विशेषकर ग्रामीण भारत की रसोई को धुएं से मुक्त करने में अहम भूमिका निभाई। अब तक उत्तर प्रदेश में 1.86 करोड़ परिवारों को उज्ज्वला कनेक्शन मिल चुके हैं।
राज्य सरकार ने योजना के लाभार्थियों को हर वर्ष दो मुफ्त एलपीजी रिफिल देने का निर्णय लिया है। यह वितरण वित्तीय वर्ष 2025-26 में दो चरणों में किया जाएगा —
पहला चरण: अक्टूबर 2025 से दिसंबर 2025 तक
दूसरा चरण: जनवरी 2026 से मार्च 2026 तक
इस योजना के सफल संचालन के लिए प्रदेश सरकार ने 1500 करोड़ रुपये का प्रावधान किया है। पहले चरण में आधार प्रमाणित लाभार्थियों को ही सिलेंडर रिफिल का लाभ मिलेगा। वर्तमान में 1.23 करोड़ लाभार्थियों का आधार सत्यापन पूरा हो चुका है।
राज्य सरकार ने इंडियन ऑयल, भारत पेट्रोलियम और हिंदुस्तान पेट्रोलियम के माध्यम से वितरण की व्यवस्था की है। वितरण में किसी तरह की देरी न हो, इसके लिए तीनों कंपनियों को 346.34 करोड़ रुपये की अग्रिम धनराशि जारी कर दी गई है।
दीपावली से पहले शिक्षामित्रों के चेहरों पर आई मुस्कान प्रदेश के 1.30 लाख शिक्षामित्रों के लिए भी दीपावली से पहले खुशखबरी आई है। बेसिक शिक्षा विभाग ने सितंबर माह के मानदेय के लिए 129 करोड़ रुपये से अधिक की धनराशि जारी कर दी है। अगले एक-दो दिनों में यह राशि शिक्षामित्रों के खातों में पहुंच जाएगी।
विभाग के अनुसार, प्रदेश के 4.50 लाख से अधिक शिक्षकों का वेतन पहले ही जारी किया जा चुका था, लेकिन शिक्षामित्रों का मानदेय लंबित था। लगातार मांग और अनुदेशकों के आग्रह के बाद राज्य परियोजना निदेशक मोनिका रानी ने बजट जारी कर दिया है।
सभी जिला बेसिक शिक्षा अधिकारियों (BSA) को निर्देश दिया गया है कि मानदेय का भुगतान केवल पात्र शिक्षामित्रों के खातों में किया जाए और व्यय रिपोर्ट निदेशालय को भेजी जाए।