7 Feb 2025: Fact Recorder
वृंदावन। ब्रज में 40 दिवसीय होली उत्सव शुरू हो चुका है लेकिन मथुरा में भीड़ प्रबंधन को लेकर चिंता बरकरार है। 2022 में श्रीकृष्ण जन्माष्टमी पर बांकेबिहारी मंदिर में भगदड़ में दो श्रद्धालुओं की मौत के बाद प्रशासन ने कई व्यवस्थाएं कीं लेकिन अभी तक कोई कारगर उपाय नहीं हो पाया है। इलाहाबाद हाईकोर्ट से भी निर्देश मांगे गए हैं। साथ ही VIP दर्शन खत्म करने की सिफारिश की गई है।
- ठाकुर बांकेबिहारी मंदिर में भीड़ नियंत्रण के अब तक सारे प्रयास विफल
- फरवरी के अंतिम सप्ताह से उमड़ेगी भीड़, दर्शन की ठोस व्यवस्था नहीं
इलाहाबाद हाई कोर्ट से मांगे गए निर्देश
प्रशासन ने इलाहाबाद हाई कोर्ट से व्यवस्थाएं सुधारने को सुझाव देकर निर्देश मांगे हैं, लेकिन कोर्ट के आदेश का इंतजार है। प्रशासन के लिए होली का उत्सव भीड़ नियंत्रण के लिए बड़ी चुनौती माना जा रहा है।
वाआइपी दर्शन बने मुश्किल
प्रशासन लगातार व्यवस्था के लिए प्रयास करने के दावे करता रहा, लेकिन अब तक ठोस कुछ नजर नहीं आ रहा है। सबसे बड़ी मुश्किल वीआइपी दर्शन की है। मंदिर में जगमोहन के ठीक सामने वीआइपी दर्शन के लिए लगाए गए वीआइपी कटहरा को हटाने पर सहमति भी प्रशासन और सेवायतों के बीच बनी, लेकिन इसे हटाया नहीं जा सका।
मंदिर के अंदर काफी देर तक श्रद्धालुओं का ठहराव भी चुनौती बनी हुई है। प्रशासन का कहना है कि मंदिर के अंदर की व्यवस्था सिविल जज के हाथ में है, ऐसे में प्रशासन बिना कोर्ट की अनुमति के कोई निर्णय नहीं ले सकता है। दो माह पहले हाई कोर्ट के आदेश पर जिला प्रशासन ने मंदिर में व्यवस्था बेहतर करने के लिए सुझाव दिए, लेकिन अब तक कोई आदेश नहीं मिले हैं। इस मामले में गुरुवार को सुनवाई होना है।
एसएसपी शैलेष कुमार पांडेय का कहना है कि हमने हाई कोर्ट में मंदिर के अंदर की व्यवस्था को लेकर सुझाव देते हुए प्रार्थना की है। उम्मीद है जल्द ही इस पर हाई कोर्ट से निर्देश मिल जाएंगे।
प्रशासन के सुझाव
- दर्शन का समय आठ घंटे से बढ़ाकर दस से 12 घंटे किया जाए।
- मंदिर के अंदर रेलिंग लगाई जाएगी, बाहर लाइव स्ट्रीमिंग से दर्शन होंगे।
- ठाकुर जी को गर्भगृह के बजाए जगमोहन (चबूतरे) पर विराजमान कराया जाएगा।
- वीआइपी दर्शन व्यवस्था भी खत्म करने का आग्रह किया गया।
पूरा सहयोग कर रहे सेवायत
मंदिर सेवायत रजत गोस्वामी कहते हैं कि मंदिर की व्यवस्था को लेकर हाई कोर्ट में अगली सुनवाई गुरुवार को है। हाई कोर्ट प्रशासन के सुझाव के बिंदुओं पर सुनवाई कर सकता है। मंदिर की व्यवस्था सुधारने को गोस्वामीजन भी पूरा सहयोग कर रहे हैं।
